मुंबई: जयपुर-मुंबई सेंट्रल सुपरफास्ट एक्सप्रेस में 31 जुलाई 2023 को हुए दिल दहला देने वाले हत्याकांड की सुनवाई के दौरान मंगलवार को एक अहम गवाह ने कोर्ट में अपना बयान दर्ज कराया। यह गवाह वह यात्री है जो खुद चेतनसिंह चौधरी का अगला निशाना बन सकता था, लेकिन समय रहते ट्रेन की चेन खींचकर उसने अपनी और अपनी पत्नी की जान बचा ली। इस यात्री की गवाही से मामले में कई अहम पहलुओं पर रोशनी पड़ी है।

लोक अभियोजक सुधीर सापकले ने इस “खुशनसीब” गवाह से सवाल-जवाब किए। अभियोजन पक्ष के अनुरोध पर गवाह की पहचान गोपनीय रखी गई है, ताकि उसकी सुरक्षा सुनिश्चित की जा सके। गवाह ने बताया कि वह ट्रेन के S-5 कोच में यात्रा कर रहा था और अपनी साइड लोअर बर्थ पर बैठा था। उसी दौरान एक महिला दौड़ती हुई आई और घबराकर बताया कि किसी की हत्या कर दी गई है। इसके तुरंत बाद उसने एक आरपीएफ जवान को उनकी तरफ आते देखा, जो बाद में चेतनसिंह चौधरी निकला।

गवाह ने बताया कि वह तुरंत अपनी पत्नी के पास खड़ा हो गया। चौधरी उनके करीब आया और बिना कुछ कहे उन्हें घूरते हुए बंदूक तान दी। उस समय स्थिति बेहद तनावपूर्ण और डरावनी थी। लेकिन तभी कुछ अन्य यात्रियों ने हस्तक्षेप किया, जिससे चौधरी कुछ पल के लिए हड़बड़ा गया और पीछे हट गया। इसी दौरान गवाह ने साहस दिखाते हुए ट्रेन की इमरजेंसी चेन खींच दी, जिससे ट्रेन रुक गई और आगे की अनहोनी टल गई।

कोर्ट में गवाही के दौरान गवाह ने चेतनसिंह चौधरी को पहचाना और उस हथियार की भी पहचान की, जिसका इस्तेमाल हत्या में किया गया था। यह वही हथियार था, जिससे चौधरी ने चार निर्दोष लोगों की जान ले ली थी।

इस हत्याकांड ने पूरे देश को झकझोर कर रख दिया था और रेलवे में सुरक्षा को लेकर कई गंभीर सवाल खड़े कर दिए थे। अदालत में मुकदमे की कार्यवाही जारी है, और प्रशासन गवाहों की सुरक्षा को लेकर विशेष सतर्कता बरत रहा है। इस केस की हर सुनवाई पर लोगों की नजर टिकी हुई है, क्योंकि यह सिर्फ एक कानूनी मामला नहीं, बल्कि इंसाफ और सुरक्षा व्यवस्था की परीक्षा भी है।